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बुधवार, 31 मई 2023
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बालोद : बालोद जिले ने किया महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल: बिना संग्रहण केंद्र भेजे धान के ज़ीरो प्रतिशत शार्टेज पर धान का किया गया पूर्ण उठाव  

परिवहन, भण्डारण एवं सूखद के कारण होने 
वाली 20 करोड़ रूपये की व्यय की हुई बचत 

कलेक्टर ने की राजस्व, सहकारिता, खाद्य विभाग
एवं मार्कफेड के कार्यों की सराहना

बालोद, 07 मार्च 2023

कलेक्टर श्री कुलदीप शर्मा के दिशानिर्देश एवं सतत् मार्गदर्शन तथा खाद्य एवं मार्कफेड, राजस्व विभाग, सहकारिता सहित अन्य संबंधित विभाग के अधिकारी-कर्मचारियों के बेहतरीन कार्यों के फलस्वरूप खरीफ विपणन वर्ष 2022-23 में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी कार्य के अंतर्गत इस वर्ष बालोद जिले ने बिना संग्रहण केंद्र भेजे धान के ज़ीरो प्रतिशत शार्टेज पर धान का पूर्ण उठाव करने की महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है। सीधे खरीदी केेंद्रों से धान का उठाव किये जाने से संग्रहण केंद्रों में परिवहन, भण्डारण एवं सूखद के कारण होने वाली 20 करोड़ रूपये की व्यय की बचत हुई है। उल्लेखनीय है कि दुर्ग संभाग में बालोद ऐसा पहला जिला है, जहां समर्थन मूल्य पर उपार्जित धान का सम्पूर्ण निराकरण कर लिया गया है। जबकि संभाग के अन्य जिले में उपार्जन केन्द्र में या संग्रहण केन्द्र में धान निराकण हेतु अभी भी शेष है।
             जिला खाद्य अधिकारी ने बताया कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के मंशानुरूप एवं कलेक्टर श्री कुलदीप शर्मा के निर्देशानुसार खरीफ विपणन वर्ष 2022-23 में सभी उपार्जन केंद्रों में समर्थन मूल्य पर धान विक्रय हेतु आने वाले किसानों की मूलभूत सुविधाओं की पूर्ति की गई है। उन्होंने बताया कि आवश्यकतानुसार बारदानें, धान का उठाव किये जाने से किसी भी पंजीकृत किसानों को समर्थन मूल्य पर धान विक्रय किये जाने में कोई भी कठिनाईयां नही हुई है। खरीदी अवधि में धान खरीदी को लेकर किसी भी प्रकार की कोई शिकवा-शिकायतें भी प्राप्त नहीं हुई है धान खरीदी का कार्य सुचारू रूप से संपन्न कराते हुए धान का निराकरण भी पूर्ण कर लिया गया है। कलेक्टर श्री कुलदीप शर्मा ने जिले में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी कार्य को निर्बाध रूप से धान खरीदी कार्य को सफलतापूर्वक संपन्न कराने तथा सीधे धान खरीदी केंद्रों से धान का उठाव किये जाने के फलस्वरूप 20 करोड़ रूपये शासन की बचत करने के लिए राजस्व, सहकारिता, खाद्य विभाग एवं मार्कफेड के अधिकारी-कर्मचारियों के कार्यों की सराहना करते हुए उनके कार्यों की मुक्त कंठ से प्रंशसा कर उन्हें बधाई दी। 
     जिला खाद्य अधिकारी श्री तुलसी ठाकुर ने बताया कि खरीफ विपणन वर्ष 2022-23 में समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी हेतु जिले में कुल 142 धान खरीदी केन्द्र स्थापित किये गये थे। इस वर्ष समर्थन मूल्य पर उपार्जित धान 5,67,899.44 में टन का सीधे खरीदी केन्द्रों से राईस मिलरों द्वारा उठाव कराते हुए शून्य प्रतिशत शॉर्टेज पर पूर्ण धान का निराकरण किया जा चुका है। उन्होंने बताया कि गत खरीफ वर्ष 2021-22 में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी हेतु 1,38,723 किसानों के द्वारा पंजीयन कराया गया था, पंजीकृत किसानों में से 1,30,679 किसानों के द्वारा धान का विक्रय किया गया था, जो कि पंजीकृत किसानों का 94 प्रतिशत था। गत वर्ष कुल 5,19,503.24 में टन धान की खरीदी हुई थी। जिसमें से राईस मिलरों के द्वारा सीधे उपार्जन केन्द्रों से 3,78,953.64 में टन धान का उठाव किया गया था एवं शेष 1,40,539.60 में टन धान जिले के संग्रहण केंद्रों एवं अंतर जिला संग्रहण केन्द्रों में धान संग्रहित किया गया था। जिसके परिवहन में 6.45 करोड़, भंडारण में 5.21 करोड़ एवं सूखत के कारण 9.85 करोड़ कुल 21.52 करोड़ रूपये शासन का खर्च हुआ था। 
         उन्होंने बताया कि खरीफ वर्ष 2022-23 में समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी हेतु कुल 1,42,863 किसानों के द्वारा पंजीयन कराया गया था। जिसमें से 1,39,096 किसानों के द्वारा समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी की गई है, जो कि 97.3 प्रतिशत है। गत वर्ष 2021-22 से खरीदे गये धान की अपेक्षा वर्ष 2022-23 में 8,417 अधिक किसानों के द्वारा धान विक्रय किया गया है। इसी प्रकार गत खरीफ वर्ष 2021-22 में कुल 5,19,503.24 में टन धान की खरीदी हुई थी, जबकि वर्ष 2022-23 में 5,67,899.44 में टन की खरीदी हुई है, जो कि वर्ष 2021-22 की तुलना में 48,396.20 में टन धान की अधिक खरीदी हुई है ।
      श्री ठाकुर ने बताया कि खरीफ वर्ष 2022-23 में धान खरीदी के पूर्व समर्थन मूल्य पर खरीदी धान में से 13,000 में. टन धान जिले के संग्रहण केन्द्रों एवं अंतर जिला संग्रहण केन्द्रों में संग्रहित करने कार्ययोजना बनाई गई थी। कलेक्टर श्री कुलदीप शर्मा के सतत् मार्गदर्शन एवं उनके प्रयास के साथ पूरी टीम के द्वारा योजनाबद्ध तरीके से समर्थन मूल्य पर खरीदे गये धान का सीधे उपार्जन केन्द्रों से राईस मिलरों द्वारा धान का उठाव कराया गया, जो कि इस जिले में पहली बार ऐसा हुआ है। 
क्रमांक/1120/ठाकुर